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BIHAR

वित्त मंत्री ने पेश किया बजट, कोरोना के बावजूद आर्थिक विकास में आगे

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विधानमंडल में वर्ष 2022-23 के लिए उपमुख्यमंत्री सह वित्त मंत्री तारकिशोर प्रसाद ने बजट पेश किया। उन्‍होंने कहा कि कोरोना के बावजूद बिहार का आर्थिक विकास होते रहा है। इस दौरान उन्‍होंने देश के पूर्व प्रधानमंत्री स्‍व अटल बिहारी वाजपेयी की कविता सुनाई। वहीं पिछला बजट दो लाख 18 हजार करोड़ रुपये का था और अगले वित्त वर्ष का बजट दो लाख 30 हजार करोड़ रुपये होने का अनुमान है। इस वित्तीय वर्ष में योजना मद में एक लाख करोड़ रुपये के खर्च का प्रविधान था।

इस बजट में रोजगार के साथ आधारभूत संरचना को मजबूत करने के लिए पहले की तुलना में अधिक राशि खर्च किया जाएगा। अर्थव्यवस्था मजबूत होने के बाद केंद्रीय करों में राज्यों की भागीदारी पहले की तुलना में अधिक होगी। एक फरवरी को पेश केंद्रीय बजट के अध्ययन के बाद उप मुख्यमंत्री तार किशोर प्रसाद ने केंद्रीय करों में अधिक राशि मिलने की उम्मीद थी। इस वित्त वर्ष में एक लाख 45 हजार करोड़ रुपये की प्राप्ति का अनुमान किया गया था, जबकि कोरोना महामारी के कारण बाजार बुरी तरह प्रभावित रहा। हालत में सुधार के बाद उम्मीद है कि इन दोनों मदों में केंद्र से राज्य को अधिक राशि मिलेगी।

कोरोना काल में मंदी के कारण राज्य सरकार ने चालू वित्त वर्ष में कर राजस्व मद में सिर्फ तीन सौ करोड़ रुपये बढ़ाया था। गैर कर राजस्व मद में भी इतनी ही राशि की वृद्धि हुई थी। कर और गैर कर राजस्व मद में 40 हजार 555 करोड़ रुपये का लक्ष्य था। दोनों मदों में सरकार उगाही का लक्ष्य बढ़ा सकती है।

केंद्रीय बजट में पूंजीगत व्यय के लिए एक लाख करोड़ रुपये के ब्याज मुक्त कर्ज का प्रविधान किया गया है।केंद्रीय करों में राज्यों की हिस्सेदारी और जनसंख्या के आधार पर उम्मीद की जा रही है कि बिहार को एक लाख करोड़ रुपये में से छह से आठ हजार करोड़ रुपये तक मिल सकते हैं।

2017–18 के वित्तीय वर्ष में एक लाख 60 हजार 65 करोड़ का बजट बनाया गया था। उसके बाद 2018–19 के वित्तीय वर्ष में एक लाख 76 हजार 990 करोड़ रूपए, 2019–20 के वित्तीय वर्ष में 2 लाख पांच सौ एक करोड़ रूपए, 2020–21 के वित्तीय वर्ष में 2 लाख 11 हजार 761 करोड़ रूपए और 2021–22 के वित्तीय वर्ष में 2 लाख 18 हजार 30 करोड़ रुपए का वित्तीय बजट बनाया गया था।