Connect with us

BIHAR

बिहार: कोर्ट और सरकार की दखल अंदाजी से फारबिसगंज एयरपोर्ट के शुरू होने की आशंका

Published

on

WhatsApp

कोर्ट के आदेश और सरकार द्वारा की गई दखल अंदाजी के पश्चात फारबिसगंज एयरपोर्ट की शुरुआत होने की आशंका है। वीडियो कांफ्रेंसिंग के माध्यम से मुख्य सचिव आमिर सुबहानी द्वारा डीएम के साथ बैठक की गई। इस बैठक में फारबिसगंज के साथ अन्य एयरपोर्ट के विकास के लिए निर्देश दिया गया। इस फैसले के बाद वहां के लोग बेहद खुश हैं। सरकार द्वारा दिखाई गई रुचि और भारत–चीन के बीच के रिश्ते को लेकर इस एयरपोर्ट को जल्द ही शुरू करने की संभावना काफी है।

पीएम जवाहरलाल नेहरू द्वारा भागलपुर सेंट्रल जेल के कैदियों की मदद से साल 1962 में भारत–चीन युद्ध के वक्त इस हवाई पट्टी का निर्माण हुआ था। 22 नवंबर 2006 के दिन एयरपोर्ट अथॉरिटी ऑफ इंडिया के अधिकारियों द्वारा इस हवाई पट्टी का सर्वे किया गया था। उस समय उन्होंने इस हवाई पट्टी को मोटेशन एयरपोर्ट अथॉरिटी को सौंपने के संकेत दिए थे। वहीं एयर ट्रेफिक कंट्रोल के प्रबंधक एके द्विवेदी द्वारा इस हवाई पट्टी की घेराबंदी कराने को कहा गया। इस जमीन की लीज प्रणाली की समाप्ति होगी और इस पर फ्लाइंग क्लब खुलेगा। वहीं घेराबंदी का कार्य लगभग पूरा किया गया है।

नेपाल से शाही विमान का अपहरण कर इसी हवाई पट्टी पर उतरकर 37 लाख रुपए की लूट की गई। वहीं 10 जून 1973 के दिन यह वारदात हुई थी। राणा हुकूमत के विरुद्ध प्रजातंत्र की स्थापना के उद्देश्य से आंदोलनकारी द्वारा इस प्रकार की कार्रवाई की गई। यह घटना एशिया का पहला विमान अपहरण था। इस मामले में भारत और नेपाल के लगभग डेढ़ दर्जन लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया था। इस मामले में नेपाल के पूर्व प्रधानमंत्री स्वर्गीय गिरिजा प्रसाद कोइराला भी शामिल थे।

पीएम पीवी नरसिंह राव द्वारा इसी हवाई पट्टी पर चुनावी सभा को संबोधित कर इसे शुरू करने की बात कही गई। इसके पश्चात केंद्रीय रक्षा मंत्री के रूप में चयनित हुए मुलायम सिंह द्वारा इसे शुरू करने की बात कही गई। लोकसभा चुनाव के दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के द्वारा भी इस हवाई अड्डा को चालू करने के संकेत दिये गए थे।