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बिहार के इन जिलों में हो रही जमीन की अधिक खरीद-बिक्री, पढ़े पूरी ख़बर

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जमीन–फ्लैट की रजिस्ट्री के संबंध में बिहार अन्य की तुलना में आगे है। वर्तमान वित्तीय वर्ष 2022-23 की प्रथम तिमाही का लक्ष्य 1320 करोड़ रुपये है। परंतु जून महीने ने ही निबंधन विभाग द्वारा इससे 1338 करोड़ का राजस्व प्राप्त किया है। राजस्व की बात करे तो बांका, मधुबनी और लखीसराय जिला अन्य की तुलना में ऊपर रहा है। वहीं पटना जिले ने सर्वाधिक 252 करोड़ रुपये का राजस्व हासिल। इसके पश्चात मुजफ्फरपुर ने 75 करोड़, जबकि मोतिहारी ने 68 करोड़ रुपये का राजस्व प्राप्त किया है।

बिहार के 30 जिलों में से 20 जिलें ने निर्धारित लक्ष्य से अधिक राजस्व प्राप्त किए हैं। इन बात की जानकारी मद्य निषेध, उत्पाद एवं निबंधन विभाग के द्वारा दी गई। इसमें बांका, मधुबनी, लखीसराय, शिवहर, सीतामढ़ी, कैमूर, दरभंगा, सुपौल, मोतिहारी, सारण, मुंगेर, हाजीपुर, भागलपुर, सिवान, सहरसा, मुजफ्फरपुर, भोजपुर, औरंगाबाद, समस्तीपुर और अरवल जिले शामिल हैं। वहीं केवल सिर्फ किशनगंज और शेखपुरा ही ऐसे जिले हैैं, जो लक्ष्य के 90 प्रतिशत से कम राजस्व प्राप्ति कर सके हैैं।

निबंधन विभाग की प्रमंडलवार रिपोर्ट के अनुसार, 9 में से 5 प्रमंडल द्वारा 100 प्रतिशत से अधिक लक्ष्य हासिल किया गया है। दरभंगा प्रमंडल 111 प्रतिशत लक्ष्य के साथ सबसे आगे है। वहीं दरभंगा का लक्ष्य 114.81 करोड़ का था, जिसके विरुद्ध 127.52 करोड़ का राजस्व प्राप्त किया गया है। इसी तरह भागलपुर ने लक्ष्य का 110 प्रतिशत, तिरहुत ने लक्ष्य का 106 और सारण और कोसी प्रमंडल ने लक्ष्य का 103-103 प्रतिशत राजस्व प्राप्त किया है। पटना व मगध प्रमंडल द्वारा लक्ष्य का 97 प्रतिशत लक्ष्य हासिल किया है।

राजस्व की बात करे तो बांका का लक्ष्य 17.61 करोड़ था जिसमें से 128 प्रतिशत राजस्व की प्राप्ति हुई है। इसके अलावा मधुबनी जिले का लक्ष्य 40.23 करोड़ रूपए था जिसमें से 120 प्रतिशत राजस्व हासिल किए। लखीसराय जिले का लक्ष्य 12.22 करोड़ का था जिसमें से 114 प्रतिशत राजस्व हासिल हुआ है।

वहीं दूसरी ओर शेखपुरा जिले ने 6.63 लाख का राजस्व प्राप्त किया जिसमें से वह लक्ष्य 68 प्रतिशत था। वहीं किशनगंज ने 13.89 करोड़ का राजस्व प्राप्त किया जिसमें से इसका लक्ष्य 87 प्रतिशत का था। कटिहार जिले ने 27.99 करोड़ की प्राप्ति की जिसमें से उसका लक्ष्य 92 प्रतिशत का था।