Connect with us

BIHAR

बिहार की दूसरी रेल सुरंग बनकर तैयार:सुरंग की दीवारों पर दिखेगी मुंगेर की ऐतिहासिक धरोहरों की छटा, यात्री चित्र के जरिए जानेंगे इतिहास

Published

on

WhatsApp

मुंगेर के जमालपुर-भागलपुर रेल खंड के मध्य बिहार की दूसरी रेल सुरंग बनकर रेडी है। यह रेल सुरंग मुंगेर की गौरव गाथा को दर्शाएगी । इसके आने और जाने दोनों द्वार पर साइड वॉल बनाया गया है। इन वॉल पर कैनवास की साइज देकर जिले के ऐतिहासिक, धार्मिक अमानत को चित्र के जरिए से प्रदर्शित किया गया है। 28 जनवरी को मुख्य संरक्षा नियुक्त सुरंग की जांच की जाएगी। जांच के एक सप्ताह के बाद नई सुरंग से ट्रेनों की आवाजाही आरंभ हो जाएगी।

बरियारपुर से जमालपुर की तरफ आने से पहले सुरंग के प्रवेश द्वार की बायीं ओर बहुत बड़ा कैनवास निर्माण किया गया है। इस पर करीब एक दर्जन से ज्यादा ऐतिहासिक धरोहरों के चित्र को प्रस्तुत किया गया। चित्र में जहां हवेली खरगपुर झील, श्रीकृष्ण सेतु मुंगेर गंगापुल, कष्ट हरनी घाट, भीम बांध, मुंगेर का किला, चंडिका स्थान, जैसे दर्जनों ऐतिहासिक आमन्तो को प्रदर्शित किया गया है। सुरंग से बाहर निकलने के बाद मुंगेर का कर्ण चौराहा, योग आश्रम साथ ही कई ऐतिहासिक स्मारकों को चित्र के जरिए से दर्शाया गया है।

मुंगेर जिले के सभी ऐतिहासिक धार्मिक और पौराणिक स्थानों को चित्र के जरिए से सुरंग के बाहर कैनवास का रूप दिया गया है। इस संबंध में जमालपुर के समाजसेवी साईं शंकर द्वारा बताया गया की, ‘इससे मुंगेर की गौरव गाथा दूर-दूर तक की जाएगी। जो भी रेल पैसेंजर इस सुरंग से गुजरेंगे वे मुंगेर के ऐतिहासिक स्थलों का अवलोकन चित्र के जरिए से ही कर लेंगे। इससे मुंगेर के इतिहास के बारे में बहुत कुछ जान पाएंगे और मुंगेर का इतिहास दूर-दूर तक पहुंच जाएगा। रेलवे का यह कोशिश करना सराहनीय है।’

बिहार की दूसरी सुरंग जमालपुर में ऑस्ट्रेलियन टेक्नोलॉजी से बनाई गई है। इस सुरंग के भीतर पहली बार लोग अंधेरे का अहसास नहीं करेंगे। सुरंग के भीतर भी ट्यूबलाइट और बल्ब लगे हुए होंगे। इससे यात्रियों को आभास ही नहीं होगा कि कब हमने सुरंग में प्रवेश किया और कब सुरंग से बाहर निकल गए। सुरंग में अंधेरा नहीं रहने वाली यह बिहार की पहली सुरंग है।

बता दें, 22 अक्टूबर 2019 को बिहार की दूसरे सुरंग के लिए खुदाई काम आरंभ हुआ था। दो वर्ष तक खुदाई के बाद अब सुरंग निर्माण होकर तैयार है। इसके निर्माण से पटना और भागलपुर साथ ही मुंगेर, साहेबगंज और फरक्का रूट पर ट्रेनों के परिचालन वक्त में कमी आएगी। पूर्व रेलवे मालदा डिवीजन में जमालपुर और रतनपुर के मध्य बनी दूसरी नई रेल सुरंग की लंबाई 341 मीटर चौड़ाई 7 मीटर और ऊंचाई 6.10 मीटर है।