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गंडक नारायणी पर झूला पुल का निर्माण, वाल्मीकि आश्रम से नेपाल के त्रिवेणी घाट जाने के लिए किया जा रहा इसका निर्माण

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नेपाल के प्रशासन के द्वारा नेपाल के त्रिवेणी घाट से वाल्मीकि आश्रम के बीच गंडक नारायणी नदी पर झूला पुल का निर्माण किया जाना है। इसका पुल के निर्माण करने का उद्देश्य पर्यटकों को इन दोनों से बीच सुगम और नजदीकी रास्ता उपलब्ध कराना है। श्री गीता रुबीना मना जे वी द्वारा इस पुल के निर्माण को लेकर टेंडर जारी किया गया है। जानकारी के अनुसार नेपाल सरकार के संघीय मामला और सामान्य सस्पेंशन ब्रिज के निर्माण का फैसला लिया गया है।

वर्तमान में वाल्मीकि आश्रम जाने के लिए गंडक बराज होते हुए लंबी दूरी तय करनी पड़ती है। इसकी जानकारी चिरंजीवी ढुंगाना और गोविंद प्रसाद देवकोटा द्वारा दी गई। झूला पुल के निर्माण के पश्चात पर्यटक इस पुल की मदद से वाल्मीकि आश्रम जा सकेंगे। इसके साथ ही इस दूरी काफी कम किया जाएगा। बताया जा रहा है कि इस पुल का निर्माण काफी जल्द की पूरा कर दिया जायेगा। साथ ही उन्होंने यह बताया कि इस पुल के दूसरी छोर से वाल्मीकि आश्रम का रास्ता कई ऊंचे–नीचे पहाड़ियों से होकर जाता है। इन जगहों पर रास्ते का निर्माण करना मुश्किल कार्य है। इसके निवारण के लिए विभाग द्वारा जल्द ही झूला पुल का निर्माण किया जाएगा।

वर्तमान में पर्यटक गंडक बराज के मार्ग से वाल्मीकि आश्रम जाते हैं। यहां आवागमन करने वाले लोगों को जांच भी की जाती है। वहीं इस पुल से लोग नेपाल से वाल्मीकि आश्रम के नजदीक खुले क्षेत्र और जंगल के रास्ते से भारतीय क्षेत्र में आ सकते हैं। वाल्मीकि आश्रम से पूर्व भारतीय क्षेत्र में एसएसबी का जांच चेकपोस्ट स्थापित किया गया है जहां सुरक्षा के लिए हर छोटी चीजों पर गौर किया जाता है। लेकिन वाल्मीकि आश्रम के नजदीक खुली भारतीय सीमा क्षेत्र में कड़ी चेकिंग, पेट्रोलिंग और फैंसिंग की जरूरत पड़ सकती है। इसका उद्देश्य नेपाल से भारतीय क्षेत्र में प्रवेश के घुसपैठियों पर रोक लगाना है।