BIHAR
बिहार: ओढनी केज में मत्स्य पालन हेतु केज तकनीक का लिया जाएगा सहारा, इतने हजार मेगाटन मछली का बढ़ेगा उत्पादन

बांका में वाटर एडवेंचर के साथ ही बांका के ओढ़नी डैम में मत्स्य पालन के लिए केज तकनीक का सहारा लिया जाएगा। इसके लिए कुल 24 केज को तैयार किया जा रहा है जिसके लिए 70 लाख का बजट तैयार किया गया है। इसके परिणामस्वरूप लगभग 10 हजार एमटी सालाना मछली के उत्पादन में वृद्धि होगी। यह कार्य मत्स्य विभाग की ओर से की जा रही है।
ओढनी डैम में 24 केज की स्थापना के लिए टेंडर प्रक्रिया की शुरुआत की जा चुकी है। मत्स्य विभाग के अधिकारियों के अनुसार यहां पर लगभग 4 गुना मत्स्य उत्पादन में वृद्धि होगी। इसकी वजह से बांका मछली उत्पादन के क्षेत्र में आत्मनिर्भर बन जाएगा। ओढनी डैम लगभग एक हजार हेक्टेयर क्षेत्र में फैला हुआ है। वर्तमान में यहां से प्रति वर्ष 25 हजार एमटी मछली का उत्पादन किया जा रहा है। 24 केज के स्थापना के बाद 10 हजार एमटी मछली का उत्पादन बढ़ जाएगा।

केज तकनीक के माध्यम से ओढनी डैम में पंगास मछली का उत्पादन किया जाएगा। केज तकनीक तैयार हो जाने के बाद मछली पालन के लिए भी टेंडर निकाला जाएगा। बांका जिला देश के आकांक्षी जिलों में शामिल है जिसकी जानकारी जिला मत्स्य पदाधिकारी संजय किस्कू द्वारा दी गई है। नीति आयोग की पहल के बाद ओढनी डैम में 24 केज की स्थापना की जा रही है। इससे मत्स्य उत्पादन में वृद्धि होगी।
