Connect with us

BIHAR

बस कंडक्टर की बेटी बनी आईपीएस अफसर, जो मारते थे ताना अब करते हैं तारीफ…

Published

on

WhatsApp

हमारे समाज में अभी भी कई ऐसे लोग है जो इश्या की भावना रखते है और दुसरे की उन्नति नहीं देखना चाहते है। कहानी एक बस कंडक्टर की बेटी आईपीएस अधिकारी शालिनी अग्निहोत्री की।

शालिनी जब पढाई कर रही थी तब लोग उपहास उड़ा रहे थे लेकिन उसने अपने मेहनत के बदौलत सबको तारीफ करने पर मजबूर कर दिया। साधारण परिवार में जन्मी शालिनी के आईपीएस अफसर बनने तक की कहानी संघर्षों से भरी है।

शालिनी अग्निहोत्री प्रारंभिक पढ़ाई अपने गाँव के स्कूल से की। दसवीं में 90 प्रतिशत से ज्यादा अंक और 12वीं में 77 प्रतिशत अंक से उत्तीर्ण हुई। फिर एग्रीकल्चर से ग्रेजुएशन की पढ़ाई कंप्लीट की।

बाद में यूपीएससी की तैयारी में लग गई। निरंतर मेहनत के दम पर आखिरकार वर्ष 2012 में यूपीएससी की परीक्षा में सफलता प्राप्त की। ऑल इंडिया 285 रैंक लाकर आईपीएस अधिकारी बनने का सपना साकार किया।

बता दें कि शालिनी के पिता बस कंडक्टर थे। उन्होंने बेटी की पढ़ाई में किसी तरह की कमी नहीं होने दी। शालिनी ने भी लगन और मेहनत के बदौलत सफलता अर्जित की और मां-पापा के सपने को साकार किया। यूपीएससी उम्मीदवारों के लिए प्रेरणा बन गई।